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सौगात दोस्ती का

saugaat dosti ki

दोस्ती एक ऐैसी सौगात है जो भगवान जी नहीं बनातें
उसे हम चुनते हैं
और राहों पर चलते चलते कई तरह के दोस्त मिलते हैं
पर कुछ खास ही होते हैं जो किसी खास मौकों पे तो नहीं
पर खास इन्सान को नसीब होती है
ऐैसा एक नसीब हमने भी पाया है
क्योंकि हमने तुमको पाया है
इम्तिहान तो हमने भी दिया था
पर आज जो कुछ भी हूँ तेरी वजह से हूँ

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